उम्मीदों भरा क्या नया साल होगा ?
हर देशवासी क्या खुशहाल होगा ?
सभी को सुबह शाम रोटी मिलेगी
या मंहगाई का फिर महाजाल होगा ?
क्या अपराधियों की भी आयेगी शामत
या फिर पहुंच का उन्हें ढ़ाल होगा ?
करेगा दलाली वो काटेगा चाँदी
जो खेती करेगा क्या बदहाल होगा ?
मेरे देशवासी क्या सोयेंगे भूखे
कसाबों की थाली में तरमाल होगा ?
समझ लो नया साल अच्छा ही होगा
अब क्या इससे ज्यादा बुरा हाल होगा ?
175. सोराबजी शापुरजी अदजानिया
2 hours ago